देहरादून: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा है कि श्रम सुधारों से देश के कार्यबल में नए युग की शुरुआत हुई है। आत्मनिर्भर भारत के संकल्प के तहत चार श्रम संहिताओं को लागू करना एक महत्वपूर्ण कदम है, जिसके दूरगामी परिणाम होंगे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार श्रम संहिताओं के अनुपालन के लिए पूरी तरह कटिबद्ध है और श्रम सुधारों के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आभार प्रकट किया।
मुख्यमंत्री ने बताया कि पूर्व के श्रम कानूनों में असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों का बड़ा वर्ग शामिल नहीं था और उनके लिए सामाजिक सुरक्षा का अभाव था। न्यूनतम वेतन सीमित क्षेत्रों तक ही था, जिससे व्यापारिक सुगमता और विदेशी निवेश पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा था।
उन्होंने कहा कि नए कानून श्रमिकों के हितों की मजबूत सुरक्षा करते हैं। सभी श्रमिकों के लिए न्यूनतम और समय पर वेतन, नियुक्ति पत्र की अनिवार्यता और महिला श्रमिकों के लिए समान अवसर और समान वेतन सुनिश्चित किया गया है। महिला श्रमिकों को रात्रि पाली में काम करने की स्वतंत्रता भी दी गई है, जिससे नारी शक्ति को आत्मनिर्भर बनाने में मदद मिलेगी।
मुख्यमंत्री ने यह भी बताया कि निश्चित अवधि के कर्मचारियों के लिए ग्रेच्युटी, निःशुल्क वार्षिक स्वास्थ्य जांच, और जोखिम भरे कार्यक्षेत्र में काम करने वाले श्रमिकों के लिए 100% स्वास्थ्य सुरक्षा जैसी व्यवस्था लागू की गई है।
उन्होंने कहा कि श्रम सुधारों से राज्य में श्रमिकों को सामाजिक सुरक्षा और बेहतर कार्य वातावरण मिलेगा, वहीं व्यवसाय और उद्योगों को अनुकूल माहौल मिलेगा। इन कानूनों से राज्य के श्रमिक और उद्योग दोनों पक्ष लाभान्वित होंगे।
