
प्रदेश की धामी सरकार एक ओर अपने तीन साल पूरे होने के जश्न की तैयारी कर रही है, वहीं दूसरी ओर नवरात्र पर कैबिनेट नए रूप में दिखाई देगी। कैबिनेट में पांच खाली पद भरे जाने के साथ ही तीन कैबिनेट मंत्रियों की विदाई के संकेत मिल रहे हैं। नए मंत्रिमंडल का जो ड्राफ्ट तैयार हो रहा है, उसमें जातीय और क्षेत्रीय समीकरणों का खास ध्यान रखा गया है।
मंत्रिमंडल में बदलाव के दौरान कुछ नए चेहरों को भी शामिल किया जा सकता है, जबकि कुछ पुराने मंत्रियों को उनके विभागों से हटा दिया जाएगा। इस बदलाव के पीछे चुनावी दृष्टिकोण और कार्यकुशलता को ध्यान में रखते हुए सरकार के फैसले लेने की संभावना जताई जा रही है। खासकर उन मंत्रियों की विदाई की बात हो रही है, जो अपने क्षेत्रों में सरकार की योजनाओं के क्रियान्वयन में अपेक्षित सफलता नहीं प्राप्त कर पाए हैं।
राजनीतिक विशेषज्ञों का मानना है कि इस बदलाव के साथ मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी न केवल मंत्रिमंडल को और प्रभावी बनाना चाहते हैं, बल्कि आगामी चुनावों में राज्य सरकार के प्रति लोगों का विश्वास भी मजबूत करना चाहते हैं।
मंत्रिमंडल में इस फेरबदल का असर राज्य की राजनीति में भी देखने को मिल सकता है, क्योंकि इस कदम से पार्टी के अंदरूनी समीकरणों पर भी असर पड़ेगा। वहीं, नवरात्रि का समय भी धार्मिक और सांस्कृतिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, जिससे यह बदलाव एक विशेष प्रतीकात्मकता भी रखता है।